माँ ने ही जुठ बोलना सिखाया,,
जब वो थाली हमको देती थी,,
और कहती थी कि उसको भूख नहीं !!
माँ ने ही जुठ बोलना सिखाया,,
माँ ने ही जुठ बोलना सिखाया,,
जब बुखार उसको आता था,,
दवाई ने वो लेती थी,,
कहती यही कि वो ठीक है,,
क्योंकि अगले दिन स्कूल की फीस जो भरनी होती थी!!
माँ ने ही जुठ बोलना सिखाया,,
माँ ने ही जुठ बोलना सिखाया,,
जब वो आखिरी बार मुझसे कह रही थी,,
कि मेरी आँखों में वो आँसू कभी देख नहीं सकती,,
वो कहीं नहीं जा रही,,,
वो हमेशा मेरे साथ रहेगी !!
माँ ने ही जुठ बोलना सिखाया,,
माँ ने ही जुठ बोलना सिखाया,,
जब जमीन पे हम गिर जाते थे,,
माँ सिर्फ ये कहती थी,,
कि चींटी मर गयी,,
और चुप चाप गोदी उठा लेती थी,,
और आंसूं पोंछ देती थीं !!
माँ ने ही जुठ बोलना सिखाया,,
जब वो थाली हमको देती थी,,
और कहती थी कि उसको भूख नहीं !!
माँ ने ही जुठ बोलना सिखाया,,
माँ ने ही जुठ बोलना सिखाया,,
जब बुखार उसको आता था,,
दवाई ने वो लेती थी,,
कहती यही कि वो ठीक है,,
क्योंकि अगले दिन स्कूल की फीस जो भरनी होती थी!!
माँ ने ही जुठ बोलना सिखाया,,
माँ ने ही जुठ बोलना सिखाया,,
जब वो आखिरी बार मुझसे कह रही थी,,
कि मेरी आँखों में वो आँसू कभी देख नहीं सकती,,
वो कहीं नहीं जा रही,,,
वो हमेशा मेरे साथ रहेगी !!
माँ ने ही जुठ बोलना सिखाया,,
माँ ने ही जुठ बोलना सिखाया,,
जब जमीन पे हम गिर जाते थे,,
माँ सिर्फ ये कहती थी,,
कि चींटी मर गयी,,
और चुप चाप गोदी उठा लेती थी,,
और आंसूं पोंछ देती थीं !!
माँ ने ही जुठ बोलना सिखाया,,
very nice...and so emotional...
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